हर व्यक्ति चाहता है कि वह आईपीओ में स्टॉक खरीद ले परंतु कुछ लोगों को IPO investment strategy (आईपीओ निवेश रणनीति) के बारे में पता ही नहीं होता की “How to buy IPO?”
IPO Purchasing की भी कुछ रणनीति होती है| ऐसे ही किसी भी IPO में इनवेस्टमेंट नहीं कर देनी चाहिए|
आज के दौर में IPO ने बहुत धूम मचा रखी है|
जैसे कि अभी हाल ही में आया बर्गर किंग आईपीओ, आईआरसीटीसी आईपीओ, उज्जीवन आईपीओ, Mrs. Bectors Food IPO, CSB Bank IPO. इनके जीवंत उदाहरण हैं|
इस पोस्ट “IPO investment strategy: आईपीओ निवेश रणनीति” के माध्यम से मैं आपको कुछ ऐसे बिंदु बताऊंगा जिनके माध्यम से आपके इस सवाल “How to buy IPO?” का जवाब मिल जाएगा|
से निवेश करना चाहिए? इसके बारे में जान पाएंगे|
ज्यादा अच्छी तरह समझने के लिए यह पोस्ट भी पढ़ें – आईपीओ क्या होता है?
तो चलिए दोस्तों, शुरू करते हैं!!
IPO Myth
कुछ लोगों द्वारा IPO के बारे में यह बताया गया है कि यदि आपको आईपीओ में स्टॉक मिल गया तो आप करोड़पति बन जाएंगे|
कुछ लोगों द्वारा यह भ्रांतियां फैला दी गई हैं कि आप आईपीओ में शेयर ले लीजिए और लाखों रुपए लिस्टिंग के द्वारा कमा लीजिए|
अरे भाई!! हलवा है क्या!!!!
आईपीओ में ऐसा नहीं होता| इसके दो कारण होते हैं|
पहला कारण– आईपीओ में शेयर लॉट में मिलते हैं| एक लॉट में लगभग ₹15000 की कीमत के शेयर होते हैं|
जैसे कि मैंने अभी बर्गर किंग के आईपीओ में शेयर लिए थे| उसका एक लॉट का साइज ढाई सौ शेयर का था|
एक शेयर की प्राइस बैंड ₹60 थी|
बर्गर किंग के इस आईपीओ को 156 गुना लोगों ने सब्सक्राइब कर लिया था|
अब! इसमें किस्मत का खेल चलता है| कंपनी को जब ज्यादा सब्सक्राइबर एप्लीकेशन दे देते हैं तब वह लॉटरी सिस्टम अपनाती हैं|
इसके अनुसार वह शेयर का अलॉटमेंट करती हैं| आप यह बात तो जानते हैं? ना कि”आईपीओ केवल शेयर बाजार में लिस्टेड पब्लिक लिमिटेड कंपनी ही ला सकती है|”
दूसरा कारण– मान लीजिए इसमें मेरा नंबर आ भी जाता|
लिस्टिंग प्राइस के बाद ₹60 के शेयर की कीमत लगभग ₹200 तक गई थी| आप मनी कंट्रोल के जरिए किसी भी शेयर की प्राइसिंग चेक कर सकते हैं|
अब यदि मुझे एक लॉट मिल भी जाता और मैं उसे बेच भी देता तो मुझे लगभग ₹35000 का प्रॉफिट आता|
अब इसमें लाखों की बात कहां से आ गई!!
चलिए एक गलतफहमी तो स्पष्ट हो गई!! कि आईपीओ के द्वारा आप रातों-रात अमीर नहीं बन सकते|
How to subscribe IPO: Pricing
सबसे पहले आपको यह जान लेना चाहिए की “कंपनियां शेयरों के दाम कंपनियां किस प्रकार तय करती हैं?”
कोई भी व्यक्ति जब भी कोई चीज भेजना चाहता है तो वह सोचता है कि वह उसे अधिक से अधिक प्राइस में बेच सके|
आईपीओ के शेयर प्राइस कंपनी तथा मर्चेंट बैंकर मिलकर तय करते हैं|
कंपनी में भी केवल प्रमोटर्स अपने पास यह अधिकार रखते हैं|
वह चाहते हैं कि उनका शेयर बहुत अधिक प्राइस में बिक जाए परंतु वह ऐसा कर क्यों नहीं पाते? इसके पीछे भी एक कारण है|
जैसा कि आप जानते हैं कि यदि Public issue 90% सब्सक्राइब नहीं हुआ तो वह रद्द हो जाएगा| सेबी द्वारा उनको पेनल्टी भी लग सकती है|
अब आप समझ गए होंगे कि कंपनियां चाह कर भी ऐसा क्यों नहीं कर पाती|
IPO Purchasing tips
चलिए दोस्तों!! अब आपके फायदे की बात करते हैं|
IPO investment strategy के तहत आपको किसी भी आईपीओ में स्टॉक खरीदने से पहले आपको किन चीजों का ध्यान रखना चाहिए? उनके बारें में मैं बता रहा हूँ|
गरजू (needy)
IPO investment strategy: यह पहला टिप है-
ऐसा नहीं है कि हमेशा कंपनी अपने शहर के प्राइस को अधिकतम ही रखें|
ऐसा भी हो सकता है कि कंपनी को धन की बहुत जल्दी आवश्यकता है और वह अपने शेयर को प्रीमियम पर लिस्ट करे|
गरजू का अर्थ होता है- किसी व्यक्ति को किसी काम को करने के लिए बहुत आवश्यकता है|
आपने अक्सर अपनी लाइफ में ऐसा देखा हो अभी कोई व्यक्ति यदि गरजू है तो वह अपनी कीमती से कीमती वस्तु को भी बहुत कम दाम पर बेच देता है|
ऐसा ही कुछ आईपीओ में भी होता है|
फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन के साथ, छोटे वित्तीय संस्थानों के साथ या फिर BSE कैसे स्टॉक एक्सचेंज के साथ|
बहुत सारे रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के नियम है|
बहुत सारे सेबी के नियम हैं| वित्तीय संस्थानों के लिए उन्होंने अलग से गाइडलाइन जारी कर रखी है कि इन्हें इस समय अवधि के बीच में शेयर मार्केट में लिस्ट होना अनिवार्य है|
यदि यह ऐसा नहीं करते तो इन पर जुर्माना भी लग सकता है|
अब इस प्रकार यदि इनको आईपीओ लाना पड़े तो इन के सामने एक चुनौती उस आईपीओ को शत-प्रतिशत सब्सक्राइब करवाने की भी होती है|
अब क्योंकि भैया यह आईपीओ इन्हें जबरदस्ती में लाना पड़ रहा है!! तो इसलिए इनके जो दाम आते हैं वह Fair (न्यायोचित) होते हैं|
क्योंकि यदि इन्होंने प्राइस ज्यादा रख दिया और इन को सब्सक्राइब और नहीं मिले तो इन पर बहुत ज्यादा पेनल्टी लग सकती है|
सामान्यतः: इस प्रकार के वित्तीय संस्थानों के आईपीओ ठीक रहते हैं|
सरकारी कंपनी का आईपीओ: govt. IPO
How to buy IPO: यह दूसरा टिप है-
यदि कोई सरकारी कंपनी आईपीओ ला रही है तो उसका शेयर प्राइस भी ठीक-ठाक ही रहता है|
सरकार के दिमाग में अपनी इमेज की चिंता हमेशा रहती है|
सरकार कभी भी पब्लिक के दिमाग में यह ख्याल नहीं आने देना चाहती कि “वह उन्हें लूट कर धन इकट्ठा करना चाहती है|”
आईआरसीटीसी का आईपीओ इसी वजह से बहुत सक्सेसफुल रहा|
किस दिन सब्सक्राइब करें?
How to buy IPO: यह तीसरा टिप है-
ऊपर के 2 पॉइंट पढ़ने के बाद यह पॉइंट पढ़ना आपको बहुत जरूरी है!
ऊपर दिए गए किसी भी बिंदु को आप आंख बंद करके फॉलो ना करें|
कुछ पॉइंट हमेशा आपके दिमाग में भी रहते होंगे कृपया आप उन्हें भी अप्लाई अवश्य करें|
अब इस पॉइंट में आपको ऊपर के दोनों पॉइंट का निचोड़ भी मिल जाएगा|
यदि किसी कंपनी का आईपीओ आपको पसंद आ रहा है|
जैसा कि आप जानते हैं कि आईपीओ 3 दिन तक खुला रहता है|
अब आपको तीसरे दिन ही IPO सब्सक्रिप्शन के लिए अप्लाई करना है|
इससे आपको यह फायदा होगा कि आपके पास में पिछले 2 दिनों का डाटा मौजूद रहेगा जिससे कि आप उसको एनालाइज करके पता लगा सकते हैं कि आईपीओ कैसा जाने वाला है?
जो भी आईपीओ ओवरसब्सक्राइब्ड हो जाता है|
उसकी एक तरह से यह गारंटी रहती है की लिस्टिंग वाले दिन वह अच्छा प्राइस दे जाएगा|
रिसर्च
How to buy IPO: यह चौथा टिप है-
किसी भी कंपनी के आईपीओ को खरीदने से पहले आपको उसका प्रॉस्पेक्ट्स अवश्य पढ़ लेना चाहिए|
रेड हियररिंग प्रोस्पेक्टस के बारे में आप आईपीओ क्या होता है? उस आर्टिकल में जाने चुके हैं|
साथ ही इसे अवश्य पढ़ें:
पब्लिक लिमिटेड कंपनी के फ़ायदे तथा नुकसान
प्राइवेट लिमिटेड कंपनी क्या होती है तथा इसके क्या फ़ायदे हैं?
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धन्यवाद